राजनीति

केंद्र सरकार की योजना को चुराते हुए रंगे हाथ पकड़े गए केजरीवाल, मीनाक्षी लेखी ने किया पर्दाफाश

इस से पहले भी केजरीवाल केंद्र सरकार द्वारा बनाई गयी 10,000 बेड के कोविड सेंटर का क्रेडिट चुराते हुए पकडे गये थे

दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल पर अक्सर यह आरोप लगता है कि वे विज्ञापनों पर ज्यादा पैसा खर्च करते हैं। दरअसल, वे काम भले ही थोड़ा सा करेंगे, लेकिन उसका प्रचार प्रसार इतना ज्यादा कर देंगे कि विपक्ष उन पर सवाल खड़े करने लगता है। इतना ही नहीं, कई बार तो वे उन चीज़ों का भी प्रचार प्रसार करते हैं, जिनमें उनकी कोई भूमिका ही नहीं होती है। ऐसे में अब, भाजपा नेता मीनाक्षी लेखी ने एक ई-कूपन का स्क्रीनशॉट शेयर किया है, जिसमें वे केजरीवाल की पोल खोलती हुई नजर आ रही हैं।

बीजेपी नेता मीनाक्षी लेखी ने एक ई कूपन का स्क्रीनशॉट शेयर किया है, जिसमें मुख्यमंत्री कोरोना राहत मुफ्त राशन योजना का जिक्र किया गया है। इसमें दावा किया गया है कि इसके ज़रिए मुफ्त राशन दिया जा रहा है। इतना ही नहीं, इसके लिए दिल्ली की आम आदमी पार्टी की सरकार ने बकायदा विज्ञापन भी तैयार करवाया है। ऐसे में, मीनाक्षी लेखी का आरोप है कि दिल्ली सरकार केंद्र की योजनाओं का श्रेय ले रही है। दरअसल, उनका कहना है कि मुफ्त राशन की योजना केंद्र सरकार की है।

मीनाक्षी लेखी ने खोली केजरीवाल की पोल

मीनाक्षी लेखी

ई कूपन का स्क्रीनशॉट शेयर करते हुए मीनाक्षी लेखी का कहना है कि केजरीवाल की एक तस्वीर है, जिसमें दिखाया गया कि यह राज्य सरकार की योजना है। उन्होंने आगे कहा कि इसमें कहीं भी यह उल्लेख नहीं है कि दिल्ली सरकार को केंद्र सरकार से पीएम गरीब कल्याण अन्न योजना के तहत राशन मिला है। मतलब साफ है कि दिल्ली की केजरीवाल सरकार केंद्र सरकार की योजनाओं का लाभ तो उठा रही है, लेकिन विज्ञापनों में सिर्फ अपना ही चेहरा दिखा रही है।

याद दिला दें कि मीनाक्षी लेखी ने इसी संबंध में एक वीडियो भी शेयर किया था, जिसमें राशन वितरण केंद्र में एक व्यक्ति को राशन से वंचित रखा गया। उस दौरान बीजेपी नेता ने आरोप लगाया था कि केंद्र से दिल्ली को लगभग 37,000 टन अनाज मिलने के बावजूद केजरीवाल सरकार जरूरतमंदों को सामान उपलब्ध कराने में विफल रही है, लेकिन आम आदमी पार्टी को विज्ञापनों से ही फुर्सत नहीं है।

मनोज तिवारी भी लगा चुके हैं आरोप

मनोज तिवारी और केजरीवाल

दरअसल, यह पहला मामला नहीं है, जब दिल्ली सरकार पर केंद्र सरकार की योजनाओं का गलत लाभ उठाने का आरोप लगा हो। याद दिला दें कि मई के महीने में मनोज तिवारी ने केजरीवाल सरकार पर आरोप लगाया था कि केंद्र द्वारा दिल्ली को आवंटित 36, 367 टन खाद्यान्न में से दिल्ली सरकार ने सिर्फ 1 प्रतिशत ही खाद्यान्न वितरित किया। इतना ही नहीं, दिल्ली के अस्पतालों और राशन केंद्रों से आए दिन लोग तरह तरह की तस्वीरें और वीडियो पोस्ट करते हैं, जिसमें दिल्ली सरकार की पोल खुलती हुई नजर आती है।

देश की राजधानी दिल्ली में अगर बात कोरोना वायरस की करें, तो अब मामला 80 हजार के पार पहुंच चुका है। हालांकि, जून तक हालात और भी ज्यादा खराब होने की संभावनाएं जताई जा रही थी, लेकिन केंद्र सरकार ने दिल्ली सरकार की समय समय पर हर संभव मदद की, जिसकी वजह से अब स्थिति थोड़ी काबू आई है।

पहले भी झूटी क्रेडिट लेने की कर चुके हैं कोशिश

मोदी सरकार के गृह मंत्रालय ने दिल्ली में कोरोना संकट को देखते हुए 10,000 बेड का कोरोना केयर सेंटर का निर्माण कराया था । इस सेंटर के निर्माण के लिए राधा स्वामी ब्यास ने जमीन दी है और ITBP इसकी जिम्मेदारी संभाली थी। प्लोरिंग का काम रेलवे के द्वारा किया गया था । इस सेंटर के निर्माण में दिल्ली सरकार की कोई भूमिका नहीं थी लेकिन केजरीवाल एंड गैंग बेशर्म से इसकी क्रेडिट लेने में जुटी थी

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