अध्यात्म

4 फरवरी मौनी अमावस्या बन रहा है ये दुलर्भ संयोग, दान कर पाएं दोगुना फल, रखें इन बातों का ध्यान

मौनी अमावस्या का हिंदू धर्म में काफी महत्व है और कहा जाता है कि इस दिन किया हुआ दान काफी जल्दी लगता है. जिसके चलते लोगों द्वारा इस दिन कई प्रकार की चीजों का दान किया जाता है और इस दिन तिल के दान को काफी जरूर माना जाता है. मौनी अमावस्या के दिन कई लोगों द्वारा मौन व्रत भी रखा जाता है और ये लोग किसी भी प्रकार की चीज का सेवन भी नहीं करते हैं. वहीं इस साल इस अमावस्या के साथ ही अर्ध कुंभ के तीसरे स्नान का संयोग भी बन रहा है. इसलिए इस दिन किसी भी पवित्र नदी में स्नान करना अधिक लाभदायक होने वाला है.

इस साल कब आ रही है मौनी अमावस्या

इस साल मौनी अमावस्या चार फरवरी के दिन यानी सोमवार के दिन आ रही है. हालांकि ये अमावस्या तीन फरवरी को 11 बजकर 50 मिनट पर ही शुरू हो जाएगी और ये पांच फरवरी तक चलेगी. वहीं चार फरवरी के दिन ही लोगों द्वारा इस दिन व्रत रखा जाना है और इसी दिन स्नान के बाद दान किया जाएगा.

क्या किया जाता है मौनी अमावस्या के दिन

मौनी अमावस्या के दिन सबसे पहले उठकर स्नान किया जाता है और उसके बाद पूजा की जाती है. पूजा करने के बाद लोग इस दिन दान करते हैं. आप चाहें तो ये दान मंदिर में जाकर कर सकते हैं या फिर ये दान सीधा किसी गरीब दे सकते हैं.

इस दिन पवित्र नदियों में स्नान करने का काफी महत्व होता है और कहा जाता है कि इस दिन स्नान करने से काफी पुण्य प्राप्त होता है. इस दिन मौन व्रत रखने से मन की इच्छा पूरी हो जाती है जिसके चलते लोग इस दिन मौन व्रत जरूर करते हैं.

इस दिन वस्त्रों का दान, खाने की चीजों का दान, फल और तिल का दान किया जाता है. शास्त्रों के अनुसार इस दिन तिल का दान जरूर करना चाहिए, आप चाहें तो तिल से बनी कोई मिठाई या फिर तिल के दानों को दान कर सकते हैं.

मौनी अमावस्या के दिन भूलकर भी ना करें ये काम

किसी भी सुनसान जगह पर ना जाएं

मौनी अमावस्या के दिन रात के समय किसी भी तरह के चौराहे पर नहीं जाना चाहिए. साथ में ही इस दिन किसी भी सुनसान और श्मशान घाट जैसी जगह से दूर रहना चाहिए.

पीपल के पेड़ को ना छूएं

अमावस्या के दिन कई लोगों द्वारा पीपल के पेड़ की पूजा की जाती है क्योंकि इस दिन इस पेड़ की पूजा करना काफी फलदायी माना जाता है. लेकिन याद रहे कि आप पूजा करते समय पीपल के पेड़ को ना छूएं. क्योंकि हिंदू धर्म के अनुसार इस पेड़ को केवल शनिवार के दिन ही छूना सही माना जाता है और इस बार ये अमावस्या सोमवार के दिन आ रही है. यानी इस दिन पेड़ को बिना छूए ही आप इसकी पूजा करें.

मांस का सेवन ना करें

अगर कोई मौनी अमावस्या का व्रत रखता है तो उसके घर के किसी भी सदस्य को मांस का सेवन नहीं करना चाहिए और ना ही किसी कीड़े को मारना चाहिए.

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