अध्यात्म

29 नवंबर 2018 काल भैरव जयंती: जरूर रखें इन 8 बातों का ध्यान, वरना हो सकता है बुरा परिणाम

हिंदू पौराणिक कथाओं के मुताबिक हिंदू कैलेंडर में हर महीने आने वाली कृष्ण पक्ष की अष्टमी तिथि को कलाष्टमी पर्व मनाया जाता है इस बार ये 29 नवंबर 2018 को मनाया जाएगा यह अष्टमी भगवान भैरव को समर्पित है यह तिथि भगवान भैरव से असीम शक्ति प्राप्त करने के लिए उचित समय माना गया है इस दिन पूजा और व्रत का विशेष महत्व माना जाता है पौराणिक कथाओं के अनुसार ऐसा बताया जाता है कि ब्रह्मा विष्णु और महेश इन तीनों देवताओं की आपस में बहस हो गई थी यह बहस इतनी बढ़ गई थी कि सभी देवताओं को बुलाकर एक बैठक की गई और सबसे यही सवाल पूछा गया कि सबसे श्रेष्ठ कौन है सभी बैठक में उपस्थित देवताओं ने अपने अपने विचार व्यक्त किए और उत्तर ढूंढा परंतु बात का समर्थन शिव जी और विष्णु जी ने तो किया परंतु ब्रह्मा जी ने शिव जी को गलत शब्द बोल दिए थे इस बात पर शिवजी क्रोधित हो गए और उन्होंने क्रोधित होकर अपने रूप भैरव को जन्म दिया था इस भैरव अवतार का वाहन काला कुत्ता है इसके एक हाथ में छड़ी है शिव जी के इस अवतार को महाकालेश्वर के नाम से भी जाना जाता है।

भगवान शिव जी के इस रूप को देखकर सभी देवता भयभीत हो गए थे भैरव ने क्रोध में आकर ब्रह्मा जी के पांच मुखों में से एक मुख काट दिया था तब ब्रह्माजी के पास केवल चार मुख ही शेष रह गए थे इस प्रकार भैरव जी पर ब्रह्महत्या का पाप आ गया था ब्रह्मा जी ने भैरव बाबा से माफी मांगी तब शिवजी अपने असली रूप में प्रकट हुए थे भैरव बाबा को भी अपने पापों का दंड मिला था वह कई दिनों तक भिखारी की तरह घूमते रहे थे कई वर्षों बाद इनका दंड समाप्त हुआ, कलाष्टमी जयंती के दिन कई ऐसे कार्य हैं जिन्हें करने से पूजा का पूरा फल प्राप्त नहीं होता है आज हम आपको इस लेख के माध्यम से ऐसे कुछ कार्य बताने वाले हैं अगर आप इन बातों का ध्यान नहीं रखते है तो आपको जिंदगी भर पछताना पड़ सकता है।

आइए जानते हैं काल भैरव जयंती पर कौन से कार्य नहीं करने चाहिए

  • आप काल भैरव जयंती के दिन गलती से भी झूठ ना बोले।
  • जो व्यक्ति काल भैरव जयंती पर व्रत रखेंगे उनको अन्न का ग्रहण बिल्कुल भी नहीं करना चाहिए।

  • काल भैरव जयंती के दिन आप अपने घर की अच्छी तरह साफ सफाई कीजिए और स्वयं में भी साफ सुथरे रहे।

  • काल भैरव जयंती के दिन किसी भी कुत्ते को हानि नहीं पहुंचना चाहिए अगर हो सके तो आप कुत्ते को भोजन जरूर दीजिए।
  • काल भैरव जयंती के दिन नमक का सेवन ना करें अगर आपको नमक की कमी महसूस होती है तो इसके स्थान पर सेंधा नमक का सेवन कर सकते हैं।
  • आप काल भैरव जयंती के दिन माता पिता और गुरु का अपमान मत कीजिए।
  • काल भैरव जयंती के दिन भगवान शिव और माता पार्वती के बिना पूजा अधूरी होती है।

  • काल भैरव जयंती के दिन रात के समय नहीं सोना चाहिए अगर संभव हो सके तो आप पूरी रात जागरण कीजिए।

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