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मुकेश अंबानी के घर के सामने गाड़ी छोड़कर इनोवा में भागा था शख्स, दो बार बदला था गाड़ी का नंबर

कुछ दिनों पहले ही मुकेश अंबानी की बिल्डिंग के पास एक लावारिस स्कॉर्पियो कार मिली थी। जिसमें 21 जिलेटिन की छड़ें और धमकी भरा पत्र रखा गया था। लावारिस स्कॉर्पियो कार को पुलिस ने जब्त कर लिया था और मुंबई क्राइम ब्रांच को ये मामला सौंपा गया था। जिसके बाद से ही मुंबई क्राइम ब्रांच ये पता लगाने में लगी हुई है कि आखिर किसने मुकेश अंबानी की बिल्डिंग के पास ये गाड़ी छोड़ी थी और धमकी भरा पत्र लिखा था।

अभी तक हुई जांच में पुलिस ने पाया है कि इस स्कॉर्पियो को ड्राइव कर आया व्यक्ति पीछे खड़ी इनोवा कार में बैठकर भाग गया था। मुंबई क्राइम ब्रांच सूत्रों के अनुसार इस इनोवा गाड़ी की नंबर प्लेट रास्ते में दो बार बदली गई थी। ताकि इसके बारे में पता न चल सके। क्राइम ब्रांच ने घटना वाले दिन से जुड़ी कई सीसीटीवी फुटेज देखी हैं और उसके आधार पर आरोपी को पकड़ने में लगी हुई है। अभी को जांच में ये सामने आया है कि इनोवा कार की ठाणे में दो बार नंबर प्लेट बदली गई। ऐसे में पुलिस को शक है कि ये गाड़ी भिवंडी इलाके से चोरी की गई थी। आरोपी ठाणे से आए और वापसी में ठाणे से गुजरे। शक के आधार पर अब मुंबई क्राइम ब्रांच के अलावा ठाणे पुलिस भी इस केस का इनवेस्टिगेशन कर रही है और गाड़ी का पता लगाने में लगी हुई है।

मुंबई क्राइम ब्रांच के एक अधिकारी के अनुसार हम हर ऐंगल से जांच कर रहे हैं। पुलिस को शक है कि जिन लोगों ने स्कॉर्पियो कार में जिलेटिन छोड़ा था। वे माओवादी हो सकते हैं। जांच के लिए मुंबई क्राइम ब्रांच की दस टीमें बनाई गई हैं। इनवेस्टिगेशन को क्राइम इंटेलिजेंस यूनिट (CIU) द्वारा लीड किया जा रहा है।

अभी तक इस मामले में पुलिस ने कई लोगों से पूछताछ भी कर ली है और जिस व्यक्ति की स्कॉर्पियो कार थी उसका भी बयान लिया गया है। स्कॉर्पियो कार के मालिक ने पुलिस को बताया है कि रात को अचानक से उसकी गाड़ी खराब हो गई थी। जिसके कारण वो गाड़ी को रास्ते में छोड़कर ट्रैक्सी लेकर घर चले गए। वहीं अगले दिन जब वो गाड़ी लेने आया तो गाड़ी वहां नहीं थी। गाड़ी के मालिक के अनुसार उसने तुरंत पुलिस में गाड़ी चोरी होने का केस दर्ज करवाया था।

पुलिस के अनुसार स्कॉर्पियो कार का नंबर चोरी होने के बाद चार बार बदला गया। आरोपियों ने नंबर प्लेट मुकेश अंबानी की कंपनियों या सुरक्षा गाड़ियों से मिलती जुलती रखी थी। यानी साफ है कि आरोपियों ने काफी दिनों से रेकी की थी और उसके बाद गाड़ी की नकली नंबर प्लेट बनवाई।

मुंबई पुलिस ने मंगलवार को इस मामले पर बयान देते हुए कहा था कि जिम्मेदारी लेने वाला पत्र फर्जी प्रतीत होता है। दरअसल रविवार को टेलीग्राम ऐप पर डाले गए पत्र में ‘जैश उल हिंद’ नामक संगठन ने वाहन पार्क करने की जिम्मेदारी ली थी। जिसपर पुलिस ने कहा है कि उसी दिन शाम को एक और पत्र सामने आया था जिसमें एक समूह ने दावा किया था कि वो ‘असली’ जैश उल हिंद है और उसने पहला वाला संदेश नहीं भेजा था और अंबानी के घर के बाहर मिले वाहन से कोई लेनादेना नहीं है। इस पत्र पर पुलिस के एक वरिष्ठ अधिकारी ने कहा कि ऐसा लगता है कि ये केवल एक मजाक था।

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