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चीन के खिलाफ मैदान में उतरा कारोबारी संगठन, 500 चीनी प्रोडक्ट्स का करेगा बहिष्कार

हम सभी भारतीयों को भी रोज़मर्रा ज़िन्दगी में चीनी सामानों का बहिस्कार करना चाहिए

भारत और चीन के मध्य इन दिनों तनाव का माहोल चल रहा है. गौरतलब है कि पूर्वी लद्दाख में गलवान घाटी पर चीनी सैनिकों के बर्बर हमले के कारण हमारे 20 जवान शहीद हो गए. इस घटना के बाद भारतियों में चीनियों को लेकर बहुत रोष है. जहां एक तरफ हमारे भारतीय सैनिक सीमा पर चीन का मुकाबला कर रहे हैं तो वहीं दूसरी तरफ आम जनता चीनी सामान का बहिष्कार कर अपना कर्तव्य निभा रही है. पिछले कुछ समय से सोशल मीडिया पर बायकाट चीनी प्रोडक्ट्स का ट्रेंड भी चल रहा है.

चीन के खिलाफ कारोबारियों का मोर्चा

लेटेस्ट ट्रेंड और करंट सिचुएशन को ध्यान में रखते हुए हमारे कारोबारी भाइयों ने भी अब चीन के खिलाफ मोर्चा खोल दिया है. दरअसल  कारोबारी संगठन कनफेडरेशन ऑफ ऑल इंडिया ट्रेडर्स (CAIT) ने 500 चीनी प्रोडक्ट्स की लिस्ट बनाई है. वे लोग इन प्रोडक्ट्स का बहिष्कार कर चीन को करारा जवाब देना चाहते हैं.   कारोबारी संगठन द्वारा तैयार 500 चीनी प्रोडक्ट्स की लिस्ट में एफएमसीजी प्रोडक्ट्स, कन्जयूमर ड्यूरेबल्स, खिलौने, टेक्सटाइल, फर्निशिंग फैब्रिक्स, फुटवियर, किचन आइटम्स जैसी चीजें शामिल है.

1 लाख करोड़ रुपये के नुकसान का लक्ष्य

CAIT के महासचिव प्रवीण खंडेलवाल ने बाताया कि चीन में बने उत्पादों का बहिष्कार कर हम आयात में कमी लाना चाहते हैं. कारोबारियों का लक्ष्य है कि दिसंबर, 2021 तक चीन से आयात में 1 लाख करोड़ रुपये की कमी होना चाहिए. यदि ऐसा होता है तो चीन को इससे भारी नुकसान होगा. वो भारतीय पैसो से अपनी अर्थव्यवस्था बुलंद नहीं कर पाएगा.

सरकार से की मांग

खंडेलवाल बताते हैं कि उन्होए इस मुद्दे को सरकार के सामने भी रखा है. एक वेबसाइट से बातचीत के दौरान उन्होंने बताया कि हमने सरकार से मांग की है कि वे दिल्ली-मेरठ रैपिड रेल ट्रांसपोर्ट सिस्टम के प्रोजेक्ट को कैंसिल कर दें. दरअसल इस प्रोजेक्ट को चीन के साथ मिलकर बनाया जा रहा है. यहाँ उन्हें चीनी कंपनी की बजाय एक भारतीय कंपनी को टेंडर देना चाहिए. कुछ दिनों पहले पीपुल्स बैंक ऑफ चाइना ने HDFC में बड़ा इन्वेस्टमेंट किया था. ऐसे में कारोबारी संगठन ने इस पर भी सवाल उठाए हैं. बता दें कि चीन ने भारत के बड़े स्टार्टअप्स में भी अपना निवेश कर रखा है. इस बात को भी सरकार के समक्ष रखा गया है.

सितारें ना करें चीनी प्रोडक्ट्स का प्रमोशन

इस संगठन ने देश के फ़िल्मी सितारों से भी अपील की है कि वे लोग चीनी उत्पादों का प्रचार प्रसार न करें. उनका कहना है कि हम लोग सीमा पर नहीं जा सकते लेकिन देश और सेना को सपोर्ट करने के लिए  चीनी सामान का बहिष्कार कर सकते हैं. देश के 7 करोड़ कारोबारियों का प्रतिनिधित्व करने वाले संगठन का कहना है कि उन लोगों ने जिन चीनी उत्पादों को बायकाट करने की बात कही है उसे बनाने में किसी विशेष तकनीक की आवश्यकता नहीं है. इन्हें भारत में ही बड़े पैमाने पर मैन्युफैक्चर किया जा सकता है. इस कदम से हम चीन पर कम निर्भर रहेंगे.

बता दें कि इन दिनों सोशल मीडिया पर भी कई लोग यही अपील कर रहे हैं कि जहां तक संभव ही चीनी उत्पादों का पूर्ण रूप से बहिष्कार करें.

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