राजनीति

क्या हुआ सस्ता-महंगा, किसको मिली मायूसी-खुशी? जानिए बजट से जुड़ी हर जानकारी

नई दिल्ली – वित्त मंत्री अरुण जेटली ने देश के करोड़ों लोगों की लाइफ अगले एक साल तक आर्थिक दृष्टि से कैसी रहेगी तय कर दिया है। वित्त मंत्री ने आज आम बजट पेश किया। आम बजट में हालांकि जैसी उम्मीद कि जा रही थी वैसा कुछ खास अभी तक ऐलान नहीं हुआ है। बात करे नौकरी पेशा लोगों कि तो इनकम टैक्स में उन्हें कोई राहत नहीं मिली है। नौकरीपेशा और मध्य वर्ग के लोगों को इस बजट से कुछ खास नहीं है। वित्त मंत्री ने बजट में टैक्स छूट की सीमा नहीं बढ़ाई है। हालांकि, नौकरीपेशा लोगों को थोड़ी राहत देते हुए मौजूदा टैक्सेबल इनकम में से 40 हजार रुपये का स्टैंडर्ड डिडक्शन दिया है। तो आइये जानते हैं कि इस आम बजट में आम लोगों के लिए क्या है।

क्या हुआ महंगा?

विदेशों से लग्जरी कार मंगवाना हुआ मंहगा।

फूड प्रोसेसिंग, इलेक्ट्रोनिक्स पर 5 फीसदी की कस्टम ड्यूटी बढ़ गई।

विदेशी मोबाइल, टीवी, लैपटॉप के भी दाम बढ़ें।

मोबाइल फोन पर सीमा शुल्क बढ़ाकर 15 से 20 फीसदी हो गई।

टीवी के कलपुर्जों पर कस्टम ड्यूटी बढ़ी।

 क्या हुआ सस्ता?

एलएनजी (लिक्विफाइड पेट्रोलियम गैस) अब थोड़ा सस्ता हो गया।

प्रिपेएर्ड लेदर, सिल्वर फॉयल, पीओसी मशीनें, फिंगर स्कैनर और माइक्रो एटीएम सस्ता हो गया है।

आइरिस स्कैनर, सौर बैटरी, देश में तैयार हीरे और ई-टिकट पर से सर्विस टैक्स कम किया गया।

‘मोदी केयर’ हेल्थ स्कीम

मोदी सरकार ने दुनिया में अपनी तरह की पहली योजना शुरु की है। यह दुनिया का सबसे बड़ा हेल्थ केयर प्रोग्राम है जिससे कम-से-कम 50 करोड़ लोगों को लाभ मिलेगा। इस योजना से देश की करीब 1.30 अरब आबादी में करीब-करीब 40 प्रतिशत की आबादी को स्वास्थ्य सुरक्षा मिलेगी। इस योजना के तहत अब गरीब परिवारों को हर साल 5 लाख रुपये तक के इलाज पर अपने पैसे खर्च नहीं करने होंगे।

 मीडिल क्लास के लिए क्या है?

आम बजट में जैसी उम्मीद कि जा रही थी वैसा कुछ खास अभी तक ऐलान नहीं हुआ है। बात करे नौकरी पेशा लोगों कि तो इनकम टैक्स में उन्हें कोई राहत नहीं मिली है। नौकरीपेशा और मध्य वर्ग के लोगों को इस बजट से कुछ खास नहीं है। वित्त मंत्री ने बजट में टैक्स छूट की सीमा नहीं बढ़ाई है। हालांकि, नौकरीपेशा लोगों को थोड़ी राहत देते हुए मौजूदा टैक्सेबल इनकम में से 40 हजार रुपये का स्टैंडर्ड डिडक्शन दिया है। हालांकि, वरिष्ठ नागरिकों को कुछ राहत जरुर मिली है।

 किसानों के लिए क्या है?

पूरे बजट का विश्लेषण करने के बाद कहा जा सकता है कि मोदी सरकार किसानों पर खासा मेहरबान रही हैं। वित्त मंत्री अरुण जेटली ने देश के किसानों के लिए आगामी खरीद की फसलों को उत्पादन लागत से कम-से-कम डेढ़ गुना कीमत पर लेने का ऐलान किया है। टमाटर, आलू और प्याज जैसे सालों भर प्रयोग में आने वाले खाद्य वस्तुओं के लिए ‘ऑपरेशन ग्रीन’ योजना शुरु की गई है, जिसके लिए 500 करोड़ रुपये का आवंटन किया गया है। इसके अतिरिक्त मछली पालन और पशुपालन के लिए 10 हजार करोड़ रुपये का बजट तय हुआ है।

 गांव और गरीबों के लिए क्या है?

बजट में आयुष्मान भारत कार्यक्रम के लिए 1,200 करोड़ रुपये और टीबी को रोगियों के लिए 600 करोड़ रुपये का बजट निर्धारित किया गया है। उज्ज्वला योजना का लक्ष्य बढ़ाकर 8 करोड़ कर दिया गया है। प्रधानमंत्री सौभाग्य योजना के तहत 4 करोड़ घरों में मुफ्त बिजली कनेक्शन देने का लक्ष्य है। स्वच्छ भारत मिशन के तहत 2 करोड़ शौचालय बनाने का लक्ष्य रखा गया है। प्रधानमंत्री आवास योजना के तहत सरकार 2022 तक हर गरीब को घर मुहैया करने का लक्ष्य है।

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