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पत्नी से गैंगरेप करने वालों से पति ने लिया बदला, डाइनमाइट लगा कर उड़ा दिया दुष्कर्मी को

गैंगरेप के गुनहगारों से लोग डरते हैं. लेकिन ये ऐसी घटना है जिसे सुनकर रेप के मंसूबे पाले बैठे लोगों के दिल दहल जाएंगे। पत्नी के साथ गैंगरेप की पति ने वो सजा दी जिसकी कल्पना भी इन आरोपियों ने नहीं की थी।

एमपी के रतलाम की घटना

बदले की ये कहानी एक साल पहले शुरू होती है। रतलाम के रत्तागढ़ खेड़ा गांव के तीन दबंग दोस्तों भंवरलाल पाटीदार (54 वर्ष), लालसिंह खतीजा (35 वर्ष) और दिनेश (37 वर्ष) की बुरी नजर एक शादीशुदा युवती पर पड़ गई। वो युवती और उसका पति दोनों गांव के सीधे-साधे दंपति थे, इसलिए उनका मन और बढ़ गया।

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उन्हें लगा कि ये सीधे-साधे पति-पत्नी उनका कुछ नहीं बिगाड़ पाएंगे। इसी मन बढ़ में तीनों ने एक दिन उस विवाहित महिला का गैंगरेप किया। पीड़ित चिल्लाती रही लेकिन उन दरिंदों ने उसे छोड़ा नहीं। पत्नी की आवाज पर पति ने जब विरोध किया तो इन तीनों गुंडों ने उसे भी धमकाया और कहा कि अगर तुम पति-पत्नी ने पुलिस में शिकायत की तो अंजाम और बुरा होगा, दोनों को जान से मार देंगे।

पत्नी से गैंगरेप को भूल नहीं पाया पति

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दबंग लोगों की धमकी पर पीड़ित पति उस समय तो चुप हो गया लेकिन पत्नी के साथ हुई ये घटना उसके दिल में बैठ गई। उसने उसी समय ठान लिया कि मुझे इसका बदला लेना है। अंदर ही अंदर बदले की आग में जलता रहा। पहले छह महीने तक चुप रहा और आरोपियों के बेपरवाह होने का इंतजार करने लगा।

जब पीड़ित पति का इंतजार हुआ खत्म

आखिर वो घड़ी आ गई जब बदले की आग में जल रहे पति को अपना बदला पूरा करने का मौका मिल गया। और जो हुआ उसे सुनकर इलाका दहल गया।

बीते 4 जनवरी को एक किसान खेत पर सिंचाई के लिए ट्यूबवेल का बटन दबाता है, लेकिन धमाके से उसके चीथड़े उड़ जाते हैं। विस्फोट की आवाज एक किलोमीटर दूर तक सुनाई देती है। आसपास के लोग मौके पर पहुंचते हैं, तो उन्हें हर तरफ शरीर के अंग बिखरे पड़े मिलते हैं।

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जिस शख्स के चीथड़े उड़ गए थे उसका नाम लालसिंह खतीजा (35 वर्ष) था, वही जो एक साल पहले गैंगरेप में शामिल था। बदले की आग में जल रहे पति ने ट्यूबेल में जिलेटिन की छड़े लगा दी थीं। बटन दबाते ही डाइनमाइट में विस्फोट हुआ और खतीजा के चीथेड़े उड़ गए।

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पुलिस जब मौके पर पहुंची तो उसने बदले की कहानी का जो खुलासा किया उससे सभी हैरान रह गए। उस पति ने इससे पहले भंवरलाल को विस्फोट से उड़ाने का प्रयास किया था। उसके खेत के ट्यूबवेल के स्टार्टर से डेटोनेटर और जिलेटिन को सेट कर दिया, लेकिन जिलेटिन की छड़ें कम थीं। हल्का विस्फोट हुआ और भंवरलाल बच गया था।

जिलेटिन की छड़ और डेटोनेटर खरीदा था

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बदले की आग में जल रहे पति ने टीवी पर देखा था कि डेटोनेटर और जिलेटिन छड़ का उपयोग करके नक्सली जवानों पर हमला करते हैं, इससे शरीर के चीथड़े तक उड़ जाते हैं। रतलाम में डेटोनेटर और जिलेटिन आसानी से मिल जाते हैं। लोग कुएं बनाने से लेकर मछली मारने में इसका उपयोग करते हैं। उसने गांव सिमलावदा के बद्री पाटीदार से जिलेटिन छड़ें और डेटोनेटर खरीदे थे।

पुलिस ने मामले का किया खुलासा

पुलिस ने मामले का दो दिन में ही खुलासा कर दिया। जांच में यह बात साफ हो गई थी कि यह हादसा नहीं हत्या है। पता चला कि गांव का सुरेश लोढ़ा घटना के दिन से ही परिवार के साथ गायब है। 6 जनवरी को मंदसौर के पास से उसे पकड़ा गया। उसने वारदात कबूल कर ली। हालांकि, आरोपी की पत्नी से पूर्व में किए गए सामूहिक दुष्कर्म के मामले में बचे हुए दोनों आरोपियों को भी गिरफ्तार कर जेल भेज दिया गया है। पुलिस की जांच जारी है।

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