अध्यात्म

सावन का पहला सोमवार : कही भोले बाबा न हो जाए नाराज़ इसलिए भूलकर भी न करें ये काम!

आज सावन का पहला सोमवार है और आज से ही सावन का महीना शुरु भी हो चुका है। आज के दिन पूरे विधि-विधान से भगवान शिव की पूजा की जाती है। ऐसी मान्यता है कि सावन का महीना भगवान शिव को प्रसन्न करने के लिए सबसे पवित्र होता है। इसलिए हम आज आपको कुछ ऐसी बातें बताने जा रहे हैं जो सावन के महीने में शिव की पूजा करने से बचना चाहिए। Sawan the month of lord shiva.

इस बार बेहद खास होगा सावन माह –

इस बार का सावन माह बेहद खास है, क्योंकि इस बार सावन माह में कई विशेष योग बन रहे हैं। सावन माह का पहला ही दिन सोमवार है। इसके अलावा, इस बार सावन में तीन सोमवार सर्वार्थ सिद्धि योग बन रहे हैं। पहला सोमवार सर्वार्थ सिद्धि योग में शुरू होगा और आखिरी सोमवार भी सर्वार्थ सिद्धि योग में ही खत्म होगा। इस बार सावन माह में पांच सोमवार भी पड़ रहे हैं। 

सावन में न करें दूध और दूध से बनी चीजों का इस्तेमाल –

सावन का पहला सोमवार : कही भोले बाबा न हो जाए नाराज़ इसलिए भूलकर भी न करें ये काम!

 

मान्यता के मुताबकि सावन में दूध, दही, छाछ आदि का इस्तेमाल नहीं करना चाहिए। सावन में दही और छाछ की बनी कढ़ी भी नही खानी चाहिए। ऐसा माना जाता है कि जिस शिव ने अपने भक्तों की रक्षा के लिए विषपान किया हो, उस शिव के लिए सावन में जो चीज आपके लिए हानिकारक है वो नही खानी चाहिए। इसलिए भगवान शिव पर दूध चढ़ाने से वो खुश होते हैं।

नॉनवेज का त्याग करें और पारिवारिक कलह से बचें –

भगवान शिव वहीं बसते हैं जहां प्यार होता है। सावन के महीने को शिव और गौरी के परिवार को समर्पित किया गया है। इसलिए इस महीने में परिवार में किसी भी तरह का झगड़ा न हो इसका ख्याल रखना चाहिए। ऐसा न होने से शिव जी नाराज हो सकते हैं। इसके अलावा, सावन में नॉनवेज नहीं खाना चाहिए। क्योंकि इस महीने में नॉनवेज खाने से मन अशांत रहता है।

शिव ध्यान करें और पैकेट वाला दूध अर्पित न करें –

सावन माह में  सुबह-सुबह शिव का ध्यान करें इससे शिव जी प्रसन्न होते हैं। इसके अलावा, ज्यादा न सोने कि कोशिश करें। खास तौर पर दिन में तो बिल्कुल ने सोये। प्रतिदिन खाली समय में भोलेबाबा का ध्यान करें। इसके अलावा, शिव जी को दूध अर्पित करने में इस बात का ख्याल रखें कि वो पैकेट वाला न हो। समस्त दोषों का निवारण करने के लिए सोमवार को शिव जी पर दूध अर्पित करें। शिवलिंग पर गाय का कच्चा दूध चढ़ाएं, डिब्बा बंद अथवा पैकेट का दूध का इस्तेमाल न करें।

 

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