समाचार

देश में प्राइवेट क्रिप्टोकरेंसी पर बैन की चल रही तैयारी। समझिए क्रिप्टोकरेंसी से जुड़ी ये दस बातें…

क्रिप्टोकरेंसी को लेकर काफ़ी दिनों से देश के भीतर असमंजस की स्थिति देखने को मिल रही थी। इसके भविष्य को लेकर तरह-तरह के कयास लगाए जा रहे थे। वहीं अब क्रिप्टोकरेंसी के अनियमित उतार-चढ़ाव से निवेशकों को बचाने के लिए मोदी सरकार ने सख्त कदम उठाने का फैसला कर लिया है। बता दें कि इसके तहत भारत सरकार ने मंगलवार यानी 23 नवंबर को क्रिप्टोकरेंसी बिल लाने का एलान किया, जिसके तहत देश में सभी निजी क्रिप्टोकरेंसी पर बैन लगा दिया जाएगा।

वहीं इस खबर के सामने आते ही क्रिप्टो मार्केट बुरी तरह धराशायी हो गया। इतना ही नहीं सभी तरह की क्रिप्टोकरेंसी में 25 से 30 फीसदी की गिरावट दर्ज की गई है। क्रिप्टो मार्केट में आए इस भूचाल को देखते हुए आइए समझते हैं कि क्या है क्रिप्टोकरेंसी बिल और इसकी मदद से केंद्र सरकार क्रिप्टोकरेंसी पर कैसे पाएगी काबू?

क्या है क्रिप्टोकरेंसी बिल? जानें…

बता दें कि सूत्रों के मुताबिक, क्रिप्टोकरेंसी के नियमन के लिए केंद्र सरकार की ओर से संसद के शीतकालीन सत्र में क्रिप्टोकरेंसी एवं आधिकारिक डिजिटल मुद्रा विनियमन विधेयक- 2021 पेश किया जाएगा। इस बिल के माध्यम से सरकार रिजर्व बैंक इंडिया के तहत एक आधिकारिक क्रिप्टोकरेंसी जारी करने के लिए आसान फ्रेमवर्क तैयार करने की योजना बना रही है।

Cryptocurrency Prices Crash

इसकी तकनीक और इस्तेमाल को लेकर भी तैयारी की जा रही है। साथ ही, इस बिल के तहत ऐसा प्रावधान लाया जाएगा, जिससे सारी निजी क्रिप्टोकरेंसी पर प्रतिबंध लग जाएगा। गौरतलब है कि शीतकालीन सत्र में पेश करने के लिए 26 बिल सूचीबद्ध किए गए हैं। इनमें क्रिप्टोकरेंसी का बिल भी शामिल है।

आइए अब जानते हैं क्रिप्टोकरेंसी से जुड़ी दस महत्वपूर्ण बातें…

Cryptocurrency Prices Crash

1) 23 नवंबर को रात करीब 11:15 बजे तक सभी प्रमुख क्रिप्टोकरेंसी में लगभग 15 प्रतिशत या उससे अधिक की गिरावट देखी गई। बिटकॉइन में 17 फ़ीसदी से अधिक, एथेरियम में लगभग 15 प्रतिशत और टीथर में लगभग 18 प्रतिशत की गिरावट आई।

2) सदन की कार्यवाही पर आधिकारिक दस्तावेज में यह कहा गया है कि आधिकारिक डिजिटल मुद्रा विधेयक, 2021 का क्रिप्टोकरेंसी और विनियमन, आगामी शीतकालीन सत्र में संसद में पेश किया जाना है और यह सत्र 29 नवंबर से शुरू हो रहा है।

3) वहीं विधेयक के जरिए कुछ अपवादों के साथ भारत में सभी निजी क्रिप्टोकरेंसी को प्रतिबंधित किया जाएगा। ऐसे में उम्मीद है कि शीतकालीन सत्र के दौरान अंतिम विचार के साथ इसे पारित करने के लिए पेश किया जाएगा।

4) सरकार का कहना है कि भारतीय रिजर्व बैंक अपनी खुद की डिजिटल करेंसी जारी करेगा और इसका उद्देश्य है, “भारतीय रिजर्व बैंक द्वारा जारी की जाने वाली आधिकारिक डिजिटल मुद्रा के निर्माण के लिए एक सुविधाजनक ढांचा तैयार करना।”

Cryptocurrency Prices Crash

5) इसके अलावा निवेशकों के पैसे की सुरक्षा, निवेश क्षमता और जोखिमों के बारे में मीडिया में भ्रामक विज्ञापन लंबे समय से चिंता का विषय बनें रहे हैं।

6) डिजिटल मुद्राओं के नियमन पर चर्चा करने के लिए केंद्र सरकार ने सभी हितधारकों के साथ कई बैठकें की हैं। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने भी इस मुद्दे पर विभिन्न मंत्रालयों और आरबीआई के अधिकारियों के साथ एक उच्च स्तरीय बैठक की अध्यक्षता की है।

Cryptocurrency Prices Crash

7) वहीं बता दें कि 16 नवंबर को क्रिप्टो फाइनेंस के “अवसरों और चुनौतियों” पर चर्चा करने के लिए बीजेपी के जयंत सिन्हा की अध्यक्षता में डिजिटल मुद्राओं पर वित्त पर पहली स्थायी समिति इस आम सहमति पर पहुंच गई थी कि क्रिप्टोकरेंसी को रोका नहीं जा सकता है लेकिन इसे विनियमित किया जाना चाहिए।

8) इसके अलावा 18 नवंबर को सिडनी डायलॉग में मुख्य भाषण देते हुए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने सभी देशों से यह सुनिश्चित करने का आग्रह किया था कि क्रिप्टोकरेंसी “गलत हाथों में समाप्त न हो।”

Cryptocurrency Prices Crash

9) वहीं भारतीय रिजर्व बैंक (RBI) और भारतीय प्रतिभूति और विनिमय बोर्ड (SEBI) ने भी कमजोर खुदरा निवेशकों को ध्यान में रखते हुए भारत में क्रिप्टोकरेंसी के अनियंत्रित विकास के बारे में चिंता व्यक्त की है।

10) अब आख़िर में जानकारी के लिए बता दें कि क्रिप्टोकरेंसी को कानूनी मान्यता देने वाला एल साल्वाडोर एकमात्र देश है। बाकी देशों में अभी भी स्थिति स्पष्ट नहीं है। वहीं भारत अब इस दिशा में तेज़ी से कदम बढ़ाता दिख रहा है।

Back to top button