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आख़िर ट्विटर पर सोनू सूद ने क्यों लिखा, “दिल टूट गया?”

पच्चीस वर्षीय लड़की के निधन पर क्यों भावुक हुए सोनू सूद?

सोनू सूद का नाम आज़कल हर किसी की जुबां पर है। हो भी क्यों न? जब सिस्टम नाकाफ़ी साबित हो रहा कोरोना से लड़ने में। ऐसे वक्त में सोनू सूद नाम का व्यक्ति ही तो है, जो दिन-रात कोरोना संक्रमित लोगों की मदद करने में जुटा हुआ है। सोनू सूद अपनी टीम के साथ मिलकर लगातार मानवता की सेवा में लगें हैं। वह अपनी क्षमता के भीतर ऑक्सीजन कंसंट्रेटर से लेकर मरीजों को एयरलिफ्ट कर अस्पताल पहुंचाने का काम कर रहे हैं। गौरतलब हो कोरोना की पहली लहर में भी लोगों की काफ़ी मदद सोनू सूद ने की थी और इस बार भी लगातार लोगों की मदद कर रहें।

पिछले साल लॉकडाउन के दौरान तो उन्होंने अनगिनत लोगों को निजी बस से घर तक भेजने का इंतजाम किया था। यहां आपको बता दें कि सोनू सूद सिर्फ आमजनों की ही नहीं बल्कि सेलेब्स की भी मदद कर रहे हैं। हाल ही में उन्होंने भारत के मशहूर क्रिकेटर सुरेश रैना की मेरठ में रहने वाली मौसी की भी मदद की थी। जब सुरेश रैना ने ऑक्सीजन सिलेंडर की गुहार ट्विटर पर लगाई थी। तो सबसे पहले सोनू सूद ने ही उन्हें सिलेंडर पहुंचा था। इतना ही नहीं सोनू से मदद मांगने वालों में एक्ट्रेस नेहा धूपिया भी शामिल हैं। अब सोनू सूद ने एक ट्वीट करते हुए लिखा, कि “दिल टूट गया।”

ऐसे में समझते हैं क्या है पूरा माजरा कि आख़िर मानवता की सेवा करते करते सोनू सूद को इतनी दर्दनाक बात अपने सोशल मीडिया एकाउंट पर लिखनी पड़ी। यहां जानकारी के लिए बता दें सोनू सूद स्वयं कोरोना से संक्रमित हो चुके हैं। इसके बाद भी वह लगातार लोगों की मदद कर रहें। गौरतलब हो बीते दिनों सोनू सूद ने एक 25 वर्षीय भारती नाम की लड़की को नागपुर से हैदराबाद एयर एम्बुलेंस से अस्पताल पहुंचाया था। जिसका अब निधन हो चुका है। जिसकी वज़ह से सोनू सूद ने ट्विटर पर ट्वीट करते हुए लिखा कि दिल टूट गया। लड़की के फेफड़े 80-90 फीसदी तक कोरोना से संक्रमित था। सोनू सूद ने उसे हैदराबाद के अपोलो अस्पताल पहुंचाया। जहां उसे विशेष इलाज की सुविधा दी गई थी, लेकिन लड़की को बचाया नही जा सका।

सोनू सूद ने ट्वीट कर लिखा कि “भारती, नागपुर की एक यंग लड़की, जिसे मैंने एयरलिफ्ट कर एयर एम्बुलेंस से हैदराबाद पहुंचाया था, उसका बीती रात हैदराबाद में निधन हो गया। ECMO मशीन के जरिए वह एक महीने से जिंदगी के लिए लड़ रही थी। मेरा दिल भारी हो गया परिवार के सदस्यों के लिए और उन सभी के लिए जिन्होंने उसके लिए दुआएं की। काश! मैं उसे बचा सकता। जिंदगी बहुत अन्यायपूर्ण है।” इसके साथ सोनू सूद ने दिल टूट वाला इमोटिकॉन बनाया। गौरतलब हो बड़ी उम्मीद के साथ सोनू सूद ने भारती को हैदराबाद के अपोलो अस्पताल में भर्ती कराया था, लेकिन वह कोरोना के कहर से अपने आपको बचा नही पाई। बता दें कि भारती के पिता एक रिटायर्ड रेलवे अधिकारी हैं।

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