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गजब: गरीब की बेटी को मिली 9 सरकारी नौकरियां, सभी छोड़ दी, अब इस लक्ष्य पर कर रही मेहनत

आजकल हर युवा सरकारी नौकरी का सपना देखता है। बहुत मेहनत और अच्छी किस्मत के बाद ही कुछ गिने चुने लोगों को एक सरकारी नौकरी मिल पाती है। लेकिन आज हम आपको किसान की एक ऐसी बेटी से मिलाने जा रहे हैं जो अभी तक 9 सरकारी नौकरी की पात्र बन चुकी हैं। हैरत की बात तो ये है कि उन्होंने बीते पांच सालों में सात सरकारी नौकरियां छोड़ भी दी है। अब 2021 में वे 8वीं बार अपनी नौकरी छोड़ने जा रही हैं।

देश की इस होनहार बेटी का नाम प्रमिला नेहरा है। राजस्थान के  सीकर जिले के छोटे से गांव सिहोट में रहने वाली प्रमिला नेहरा एक किसान (रामकुमार नेहरा) की बेटी हैं। उनकी मां मनकोरी देवी घर में हाउस वाइफ हैं। भाई महेश नेहरा चुरू में पुलिस में सिपाही है तो वहीं पति राजेंद्र प्रसाद रणवा ( गांव बोदलासी निवासी) दिल्ली पुलिस में कांस्टेबल है।

प्रमिला व्याख्याता भर्ती परीक्षा, पटवारी, ग्रामसेवक, महिला पर्यवेक्षक, पुलिस कांस्टेबल और एलडीसी की परीक्षा सहित 9 एग्जाम पास कर चुकी हैं। इन सभी जॉब्स को छोड़ वे वर्तमान में  नागौर जिले के एक सरकारी स्कूल में सीनियर टीचर की नौकरी कर रही हैं। प्रमिला के लिए इन सभी परीक्षाओं को पास करना इतना आसान भी नहीं था। खासकर शादी के बाद ससुराल में रहकर ऐसा करना और भी कठिन था। हालांकि इस काम में प्रमिला के ससुराल वालों और पति ने पूरा साथ दिया।

प्रमिला राज्य लोक सेवा आयोग की तरफ से आयोजित व्याख्याता भर्ती में प्रथम श्रेणी शिक्षक परीक्षा में पूरे राज्य में 9वीं रैंक लाई थी। अपनी सफलता का राज शेयर करते हुए वे बताती हैं कि मैंने इन परीक्षाओं को पास करने के लिए कड़ी मेहनत की है। परीक्षा की तैयारी के दौरान उन्होंने न तो सोशल मीडिया खोला और न ही टीवी देखी। इतना ही नहीं वे इस दौरान सिर्फ कीपैड वाला मोबाईल ही यूज करती थी।

प्रमिला बताती हैं कि सभी प्रतियोगी परीक्षाओं का सैलेबस करीब-करीब सेम ही होता है। अब यह आपके ऊपर डिपेंड करता है कि आप इन सब्जेक्ट्स को कितना समझ पाते हैं। प्रमिला के अनुसार आपको किसी भी टॉपिक को कभी रटना नहीं चाहिए। रट्टा मारा हुआ आप भूल जाते हैं। लेकिन यदि उस टॉपिक को समझ लें तो एग्जाम में घुमा फिराकर आए सवालों को भी आसानी से हल कर सकते हैं।

प्रमिला की पहली गवर्नमेंट जॉब साल 2015 थर्ड ग्रेड टीचर में लगी थी। उन्होंने यह जॉब कुछ समय तक की। इसके बाद पटवारी, ग्राम सेवक, एलडीसी व महिला सुपरवाइजर की परीक्षाएं उत्तीर्ण कर ली। ये सभी जॉब्स उन्होंने कभी दो महीने तो कभी तीन महीने तक की। इसके बाद 2020 में राज्य लोक सेवा आयोग की व्याख्याता भर्ती में प्रथम श्रेणी शिक्षक परीक्षा पास कर यह नौकरी करने लगी। अब वे जल्द ही इसे भी छोड़ने वाली हैं क्योंकि उनका असली लक्ष्य आरएएस व यूपीएससी परीक्षा क्रैक करना है।

एक रिकेप करें तो प्रेमिला अब तक एसएससी जीडी, राजस्थान पुलिस, महिला सुपरवाइजर, एलडीसी, ग्राम सेवक, पटवारी, थर्ड ग्रेड टीचर, वरिष्ठ शिक्षिका और फर्स्ट ग्रेड टीचर जैसी सरकारी नौकरियां हासिल कर चुकी हैं। वहीं वे राज्य की सीटेट एक बार जबकि आरएएस प्री दो बार उत्तीर्ण कर चुकी हैं।

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