राजनीति

पहले पालघर काण्ड और अब रेलवे काण्ड, झूठ बोलकर लोगों को गुमराह कर रही है कांग्रेस?

85 खर्च केंद्र सरकार उठा रही है और 15% राज्य सरकार उठाएगी, बचने वाला 0% का खर्च कांग्रेस उठाएगी

कोरोना वायरस के संकट के समय में भी कांग्रेस राजनीति करने से पीछे नहीं हट रही है और लोगों के बीच गलत खबर फैला रही है। कांग्रेस की और से गलत प्रोपगेंडा फैलाया जा रहा है, जिसमें कांग्रेस इस बात का दावा कर रही है कि वो घर जाने वाले मजदूरों के रेलवे किराए का खर्च उठाएगी। लेकिन सवाल ये उठता है कि जब सरकार मजदूरों से घर वापसी का किराया वसूल ही नहीं रही है, तो फिर कांग्रेस कैसे मजदूरों की मदद का ऐलान कर रही है।

दरअसल कांग्रेस ने ये आरोप लगाया था कि रेलवे की और से मजदूरों से घर वापसी के लिए किराया वसूला जा रहा है। लेकिन रेलवे कई बार ये बात साफ कर चुकी है कि उसने मजदूरों से कोई किराया नहीं लिया है और मजदूरों को नि:शुल्क सफर करवाया जा रहा है। लेकिन इसके बाद भी कांग्रेस ये कहती हुई नजर आ रही है कि वो मजदूरों के किराए का वहन करेगी।

रेलवे के अनुसार देश के अलग-अलग हिस्सों से चलाई जा रही श्रमिक स्पेशल ट्रेन में यात्रा कर रहे लोगों से कोई पैसे नहीं लिया जा रहा है और किराये का कुछ प्रतिशत राज्य सरकारों से वसूला जा रहा है। लेकिन रेलवे की और से शुरू की गई श्रमिक स्पेशल ट्रेन पर भी कांग्रेस राजनीति कर रही है और प्रोपगेंडा के जरिए लोगों में फेक न्यूज फैला रही है।

कई अखबर भी कर रहे हैं प्रोपगेंडा की राजनीति

कांग्रेस की अध्यक्ष सोनिया गांधी ने 4 मई को एक बयान जारी कर कहा था कि कांग्रेस मजदूरों की यात्रा का खर्च उठाएगी। फिर क्या कई अखबरों और वेबसाइट पर केंद्रीय सरकार के खिलाफ कई तरह की खबरें छपने लगी। The Telegraph की वेबसाइट पर पीएम केयर्स की जगह Who Cares की हेडलाइन लिखी गई।

कांग्रेस का पक्ष लेने वाले लोगों ने कई तरह  के पोस्ट भी किए। जिसमें से एक पोस्ट में यहां तक कहा गया कि रेलवे विभाग द्वारा संचालित की जा रही विशेष ट्रेनों में प्रति यात्री से 50 अतिरिक्त वसूला जाएगा।

इसके अलावा सोशल मीडिया पर एक गलत टिकट की फोटो में खूब वायरल की गई। जिसके जरिए ये दिखाया गया कि लोगों से रेलवे किराया ले रही है। आपको बात दें कि ये टिकट वसई रोड से गोरखपुर का है और इस रूट पर कोई श्रमिक स्पेशल नहीं चालाई गई है।

राहुल गांधी ने भी किया ट्वीट

इसी बीच राहुल गांधी ने भी एक ट्वीट किया और सरकार से सवाल करते हुए पूछा कि एक तरफ रेलवे दूसरे राज्यों में फंसे मजदूरों से टिकट का भाड़ा वसूल रही है वहीं दूसरी तरफ रेल मंत्रालय पीएम केयर फंड में 151 करोड़ रुपए का चंदा दे रहा है। जरा ये गुत्थी सुलझाइए!


गौरतलब है कि लॉकडाउन के कारण कई सारे मजदूर और छात्र अपने गृह राज्य नहीं जा पा रहे हैं। जिसके चलते ये स्पेशन ट्रेन चलाई जा रही हैं। ताकि ये लोग अपने घर पहुंच सकें। इस ट्रेन में सफर करने वाले यात्रियों से किसी भी तरह का किराया नहीं लिया जा रहा है और साथ में ही इन्हें फ्री में खाना भी दिया जा रहा है। लेकिन फिर भी झूठी खबरें फैलाई जा रही हैं। हालांकि ये पहला मौका नहीं है जब कांग्रेस की और से प्रोपगेंडा फैलाया गया हो, इससे पहले पालघर कांड को लेकर भी कांग्रेस ने प्रोपगेंडा की राजनीति की थी।

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