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15 साल की लड़की ने तोड़ा सचिन का 30 साल पुराना रिकॉर्ड, मैदान में चिल्लाती थी- ‘सचिन सचिन….’

भारतीय क्रिकेट को दिन ब दिन नया स्तर मिलता जा रहा है, जिसमें आए दिन नए नए सितारें उभर का सामने आ रहे हैं। फिर चाहे बात पुरुष क्रिकेट टीम की हो या फिर महिला क्रिकेट टीम की। दोनों ही क्रिकेट टीम विश्व पटल पर भारत का नाम रोशन कर रही है। इसी सिलसिले में आज हम बात महिला क्रिकेट टीम की करेंगे, जिसकी एक खिलाड़ी ने मास्टर ब्लास्टर सचिन तेंदुलकर का रिकॉर्ड तोड़ दिया है। जी हां, उस खिलाड़ी का नाम शफाली वर्मा है, जिनकी उम्र सिर्फ 15 साल है। इतना ही नहीं, 15 साल की शफाली वर्मा ने सचिन तेंदुलकर का सालों पुराना रिकॉर्ड तोड़ डाला।

शफाली वर्मा ने न सिर्फ सचिन तेंदुलकर का रिकॉर्ड तोड़ा है, बल्कि उन्होंने हिटमैन को भी पीछे छोड़ा है। बता दें कि शफाली वर्मा 9 साल की उम्र में मैदान में खड़ी होकर सचिन सचिन चिल्लाती थी, जिसके बाद अब 15 साल के उम्र में सचिन जैसा जज्बा और जोश उनमें देखने को मिल रहा है। बता दें कि शफाली वर्मा ने इंटरनेशनल मैच खेलते हुए अपना पहला अर्धशतक जड़ा, जिसके बाद पूरी दुनिया उनकी दिवानी हो गई और हर कोई उनके नाम की माला जप रहा है।

टूटा सचिन का 30 साल पुराना रिकॉर्ड

मास्टर ब्लास्टर सचिन तेंदुलकर ने 30 साल पहले इंटरनेशनल लेवल पर सबसे कम उम्र में अर्धशतक बनाने का रिकॉर्ड अपने नाम कर रखा था, जिस समय उनकी उम्र 16 साल थी, ऐसे में अब शफाली ने 15 साल की उम्र में सचिन का तीस साल पुराना रिकॉर्ड ब्रेक कर दिया। बता दें कि शफाली वर्मा की उम्र अभी सिर्फ 15 साल है, जिन्होंने 49 गेंदों में 73 रन की शानदार पारी खेली। मतलब साफ है कि भारतीय महिला टीम को एक सचिन मिल गई है, जो एक लंबी पारी खेलने के इरादे से मैदान में आई है।

शफाली वर्मा ने न सिर्फ सचिन का रिकॉर्ड तोड़ा बल्कि उन्होंने रोहित शर्मा का सबसे कम उम्र में टी-20 में 50 रन बनाने का रिकॉर्ड भी तोड़ दिया, जिसके बाद वे पहली भारतीय बन गई, जिन्होंने टी-20 में सबसे कम उम्र में 50 रन बनाया। बता दें कि शफाली वर्मा को क्रिकेट बचपन से ही पसंद था, जिसकी वजह से वे सचिन तेंदुलकर को खेलते हुए खूब देखती थी और उन्हें चीयर्स करने के लिए वे मैदान में भी जाया करती थी, लेकिन यहां तक पहुंचने का सफर उनके लिए आसान नहीं था।

मीडिया रिपोर्ट्स की माने तो शफाली वर्मा को क्रिकेट अकदमी में दाखिला नहीं मिल रहा था, क्योंकि वे एक लड़की थी, ऐसे में उनके लिए यहां तक पहुंचना बहुत बड़ी बात है। शफाली वर्मा ने एक इंटरव्यू में बताया कि उनके पिता चाहते थे कि उनकी बेटी इंटरनेशनल लेवल पर क्रिकेट खेले, जोकि अब पूरा हो चुका है। मतलब साफ है कि शफाली वर्मा के हाथों में भारतीय महिला क्रिकेट टीम का भविष्य उज्ज्वल दिखाई दे रहा है और उनके फैंस तो यही चाहते हैं कि वे भारत की दूसरी सचिन बन जाए।

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