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टैक्सी ड्राइवर ने बचाई लड़की की जान, उसके बाद लड़की ने इस तरह चुकाया एहसान

न्यूज़ट्रेंड वेब डेस्क: कहते हैं कि कलयुग हैं और अब इंसानियत खत्म हो गई है। अब हर कोई बस अपने बारे में सोचता है और दूसरे के बारे में कोई ना तो सोचना चाहता है और ना कुछ करना चाहता है। यहां तक की अगर कोई किसी परेशानी में भी है तो लोग ये कहकर किनारा कर लेते हैं कि कौन इन सब चक्करों में पड़े।

यहां तक की हम अखबारों और टीवी चैनल में भी इसी तरह की न्यूजें पढ़ने में और दिखने में आती है। लेकिन दुनिया में आज भी कई ऐसे लोग हैं जो दूसरों की मदद करने में कभी पीछे नहीं हटते हैं। जिनके बारे में जानकर ये लगता है कि आज भी इंसान और इंसानियत दोनों ही जिंदा हैं। तो आज हम आपको एक ऐसे ही शख्स के बारे में बताएंगे जिसने किसी अंजान की जान बचाने के लिए अपनी रोजी-रोटी तक बेच दी।

आपने अक्सर देखा ही होगा कि जब भी सड़क हादसे होते हैं तो बहुत ही ऐसे कम लोग होते हैं। जो उस वक्त पीड़ित व्यक्ति की मदद करें, क्योंकि हर कोई यही सोचता है कि कौन पुलिस के झंझट में पड़े। लेकिन आज हम आपको एक ऐसी ही घटना के बारे में बताएंगे जहां पर एक लड़की सड़क हादसे का शिकार हो गई थी। ये घटना सहारनपुर की हैं जहां एक लड़की सड़क पर दुर्घटना का शिकार हो गई थी। सड़क पर गुजर रहे सभी लोग उसे रोड पर तड़पता देख रहे थे, लेकिन कोई भी उसकी मदद के लिए आगे नहीं आया।

तभी एक टैक्सी ड्राइवर वहां से गुजरा और उसने लड़की को देखा, लडकी को देखते ही उसने बिना कुछ सोचे समझे उस लड़की को उठाया और अपनी टैक्सी में लेकर हॉस्पिटल पहुंचा। अस्पताल वालों ने तुरंत लड़की का ऑपर्शन की बात कही और उसे 2 लाख रूपए जमा करने को कहा। उस ड्राइवर के पास इतने पैसे नहीं थे जिसके लिए उसने अपनी टैक्सी बेच दी और ऑपरेशन के पैसे जमा किए।

आपको बता दे कि उस टैक्सी वाले की रोजी-रोटी का साधन वो टैक्सी ही थी, जिसके बेचने के लिए अब वो दाने-दाने का मोहताज हो गया। आपको बता दे कि इस टैक्सी चालक का नाम राजवीर है। और उसने हाल ही में ये टैक्सी खरीदी थी। लेकिन उस लड़की की जान बचाने के लिए उसने उसे बेच दिया। लड़की का ऑपरेशन सक्सेसफुल रहा और वो सही होकर अपने घर चली गई।

जिस लड़की की राजवीर ने जान बचाई थी उसका नाम असीमा था। असीमा एक दिन राजवीर के घर आई और उसको अपने साथ अपनी डिग्री के कन्वोकेशन में आने को कहा। राजवीर की आर्थिक स्थिति बहुत खराब थी। लेकिन फिर भी वह बहन ने बुलाने पर यूनिवर्सिटी में अपनी बूढ़ी मां के साथ पहुचा। डिग्री देने के लिए राष्ट्रपति ने पहला नाम ही आशिमा का पुकारा और आशिमा को गोल्ड मेडल से सम्मानित किया गया। लेकिन तभी आशिमा ने राजवीर को स्टेज पर बुलाया और लोगों को पूरी कहानी बताई और वो मेडल भी उसी को पहना दिया। बता दें कि बाद में आसमा ने राजवीर को एक टैक्सी भी दिलाई और इसके साथ ही वो राजीवर के साथ रहने भी लगी।

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