अध्यात्म

नवरात्रि में क्यों करना चाहिए महिलाओं को 16 श्रृंगार, ज़रूर जानिए इसके पीछे की क्या है वजह?

देश भर में इन दिनों नवरात्रि का फेस्टिवल बड़े ही धूमधाम से मनाया जा रहा है। इन दिनों हर कोई माता दुर्गा को प्रसन्न करने की भरपूर कोशिश कर रहा है। चारो तरफ इन दिनों सिर्फ माता की जयकारा ही नज़र आ रहा है। जी हां, नवरात्रि फेस्टिवल में महिलाएं और पुरुष व्रत रखते हैं। माना जाता है कि नवरात्रि के इस त्योहार में महिलाओं को सोलह श्रृंगार करना चाहिए, इसके पीछे सुंदरता की वजह नहीं बल्कि कई मान्यताएं जुड़ी हुई है। तो चलिए जानते हैं कि हमारे इस लेख में आपके लिए क्या खास है?

हिन्दू धर्म मे सोलह श्रृंगार का बहुत महत्व है। नवरात्रि के दिनों में देखा जाता है कि महिलाएं काफी सजी धजी होती हैं। इसके पीछे भले ही सुंदरता आम कारण माना जाता है, लेकिन यह कई धार्मिक मान्यताओं से जुड़ा हुआ है। भारतीय संस्कृति और परंपरा में 16 श्रृंगार को बहुत ही आवश्यक माना जाता है। पर क्या आप जानते हैं कि आखिर नवरात्रि में महिलाओं को 16 श्रृंगार करना जरूरी है। तो चलिए जानते हैं कि 16 श्रृगांर क्या होता है और 16 श्रृंगार में क्या क्या चीजें आती हैं।

क्या है 16 श्रृगांर- 16 श्रृंगार बहुत ही जरूरी माना जाता है। इसे सिर्फ खूबसूरती के लिहाज से ही नहीं बल्कि ये महिलाओं के भाग्य को भी बढ़ाता है। इसलिए नवरात्रि के पर्व में 16 श्रृगांर को क्यों जरूरी माना गया है।

16 श्रृंगार में क्या क्या चीजें आती हैं- महिलाओं के परिधान के लिए 16 अलग अलग चीजें  इसमें आती हैं।

  • लाल कपड़े- मां दुर्गा को लाल कपड़ा बहुत अधिक पसंद होता है। इसलिए नवरात्रि के समय हमेशा कोशिश करें कि लाल कपड़े ही पहनें। ऐसा करने से माता रानी आपसे खुश रहेंगी। और नवरात्रि आपके लिए शुभ होगा।
  • बिंदी- बिंदी लगाना शादीशुदा महिलाओं के लिए बहुत जरूरी माना जाता है। श्रृंगार को पूरा करने के लिए बिंदी बहुत जरूरी है। इसे महिलाओं के शक्ति का भी प्रतीक माना जाता है। बिंदी आपके सौन्दर्य को ही नहीं बल्कि आपके मनोबल को भी बढ़ाती है। एक साधारण सी चीज है लेकिन महिलाओं के लिए बहुत ही जरूरी है। बिंदी खूबसूरती तो ही बढ़ाती ही है साथ ही इसमें माना जाता है कि ये सेहत के लिए भी जरूरी है।
  • मेंहदी- महिलाएं नवरात्रि के पहले ही अपने हाथों में लगा लेती हैं। मेंहदी के बिना 16 श्रृंगार को अधूरा ही माना जाता है। महिलाएं अक्सर हर शुभ अवसर पर मेंहदी लगाती हैं।  सिर्फ नवरात्रि ही नहीं बल्कि हर शुभ अवसर पर महिलाओं को मेंहदी लगानी चाहिए।

  • सिंदूर- सिंदूर को महिलाओं के लिए शुहाग होने की निशानी माना जाता है। धार्मिक परंपराओं में माना जाता है कि सिंदूर लगाने से पति की आयु लंबी होती है।
  • गजरा- नवरात्रि के दौरान गजरा अपने बालों में जरूर लगाएं ये न सिर्फ आपकी खूबसूरती को बढ़ाता है बल्कि मां दुर्गा को भी गजरा काफी पसंद है।
  • मांग टीका- इसे माथे में सिंदूर के साथ पहना जाता है। इसे लगाकर आप अपनी खूबसरती में चार चांद लगा सकती हैं।
  • नथ- शादीशुदा महिलाओं के लिए नथ बहुत जरूरी माना जाता है। ये 16 श्रृंगार को पूरा करती है। आजकल लड़कियां भी अपने नाक में नथ डालती हैं।
  • झुमका- झुमका 16 श्रृंगार का एक अहम हिस्सा माना जाता है। इसके अलावा ये चेहरे की सुंदरता भी बढ़ाता है।

  • मंगल सूत्र- मंगल सूत्र के कई कारणों से अहम माना जाता है। ये सुहागन महिलाओं के लिए तो जरूरी है ही इसके अलावा इसमें लगे काले मोती महिलाओं को बुरी नजर से भी बचाती है।
  • बाजूबंद- ये कड़े की तरही होता है। सोने या चांदी से बना होता है और बाहों में पूरी तरह से कस जाता है, इसलिए इसे बाजूबंद कहा जाता है। महिलाएं इसे इसलिए पहनती हैं ताकि पारिवारिक धन की रक्षा हो सके।
  • चूड़ियां- नवरात्रि के समय सुहागन महिलाओं को लाला चूड़ियां पहनना चाहिए, नवरात्रि के दौरान महिलाओं के हाथ अगर चूड़ियों से भरी होंगी तो ये काफी शुभ माना जाता है।

  • अंगूठी- हाथ में अंगूठी पहनने से महिलाओं में उर्जा बनी रहती है और इसे पति पत्नी में प्यार की भी निशानी मानी जाती है
  • कमरबंद- कमरबंद देखा जाता है कि अक्सर नववधू ही पहनती हैं। हालांकि ये 16 श्रृंगार का ही हिस्सा है।
  • बिछुआ- बिछुआ पहनना  16 श्रृंगार के अलावा स्वास्थय कारणों से भी पहना जाता है।
  • पायल- पैरों में पहनी जाने वाली पायल महिलाओं की खूबसूरती बढ़ाती है।

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