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कोरोना संक्रमण रोकने के लिए इस महिला सरपंच ने अपनाया ये तरीका, मोदी भी हुए सरपंच से प्रभावित

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने पंचायती राज दिवस के मौके पर सरपंच प्रियंका रामदास मेदनकर के साथ वीडियो कॉन्फ्रेंस के जरिए बात की थी और इस वीडियो कॉन्फ्रेंस के जरिए प्रियंका रामदास मेदनकर ने मोदी को से कुल 6 मिनट तक कोरोना पर चर्चा की थी। कोरोना पर बात करते हुए प्रियंका रामदास मेदनकर ने मोदी को बताया कि कैसे उन्होंने अपने गांव में कोरोना को फैलने से रोका और लोगों को कोरोना वायरस के प्रति जागरुक करवाया।

प्रियंका रामदास मेदनकर पुणे के खेड़ तहसील के तहत आने वाले मेदनकरवाड़ी ग्राम पंचायत की सरपंच हैं। प्रियंका ने अपने गांव में कोरोना की एंट्री को रोकने के लिए कई सारे अहम कदम उठाए हैं और इन कदमों की वजह से ही इनके गांव में कोरोना वायरस नहीं फैल सका है। प्रियंका की और से किए गए कामों की प्रधानमंत्री ने भी तारीफ की है। वहीं प्रधानमंत्री से बातचीत करते हुे प्रियंका ने उन्हें एक कविता भी सुनाई।

प्रियंका ने अपने गांव में सोशल डिस्टेंसिंग के नियमों को लागू करवाया और साथ में ही लोगों को मास्क पहनने और सैनिटाइजर के इस्तेमाल के प्रति जागरूक किया। वहीं मोदी से हुई बातचीत पर प्रियंका ने कहा कि एक सरपंच के लिए देश के सबसे बड़े व्यक्ति से बात करना एक गौरव का क्षण है और मेरे जीवन का आज ये सबसे पड़ा दिन है।

गांव में किया हार्ड लॉकडाउन

देश में लॉकडाउन लगने के बाद प्रियंका ने अपने गांव के लोगों को लॉकडाउन के नियमों का पालन करने को कहा और पूरे गांव को आठ दिनों के लिए हार्ड लॉकडाउन कर दिया। पूरे गांव को सोडियम डाईपोक्लोराइड से सैनिटाइज किया और जहां पर ज्यादा लोगों की आवाजाही होती है वहां पर दो सैनिटाइजेशन टनल बनवाएं। साथ में ही एक संस्था से जुड़ी महिलाओं को मास्क बनाने के काम दिया और लोगों को मास्क पहनने के लिए प्रेरित किया। प्रियंका के अनुसार उन्होंने हर घर को सैनिटाइज करवाया।

बंद करवाई मॉर्निंग और इवनिंग वॉक

संक्रमण को फैलने से रोकने के लिए प्रियंका ने गांव के लोगों की मॉर्निंग और इवनिंग वॉक बंद करवा दी और शाम की स्ट्रीट लाइट को भी जल्द बंद करना शुरू कर दिया।  प्रियंका के उठाए गए इन्हीं कदमों की वजह से उनके गांव से अभी तक कोई भी कोरोना संक्रमित मामला सामने नहीं आ या है। प्रियंका के अनुसार वो समय समय पर गांव में लाउडस्पीकर लेकर घूमती हैं और लोगों को घरों में रहने को बोलती हैं। इतना ही नहीं प्रियंका ने उन गरीब लोगों को खाने का राशन भी दिया जिनके पास राशन कार्ड नहीं था।

गौरतलब है कि महाराष्ट्र राज्य के मुंबई और पुणे शहर कोरोना से सबसे बुरी तरह से प्रभावित हैं। इन दोनों शहरों में कोरोना वायरस बुरी तरह से फैल गया है। पुणे में कोरोना संक्रमण के अब तक 800 से ज्यादा केस मिल चुके हैं। ऐसे में प्रियंका ने अपने गांव को कोरोना से मुक्त रखने के लिए अहम कदम उठाए हैं।

प्रियंका भारतीय जनता युवा मोर्चा से जुड़ी हुई है। 32 साल की प्रियंका ने पुणे के एमआईटी कॉलेज से पोस्ट ग्रेजुएट की है। प्रियंका की तरह ही इनके पति भी सरपंच हैं।

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