राजनीति

दगाबाज चीन ने फिर दिखाई औकात, आतंकवाद के लिये पाकिस्तान के साथ खड़ा हुआ चीन!

भारत और अमेरिका के बीच लगातार बढ़ती नजदीकियां अब चीन और पाकिस्तान को गड़ने लगी हैं. अमेरिका ने भारत की मदद के लिये एक बड़ा कदम उठाया तो चीन ने फिर उसपर आपत्ति जताई है और पाकिस्तान के साथ खड़ा हो गया है.

 

दरअसल मंगलवार को अमेरिका ने पठानकोट हमले के मास्टरमाइंड और भारत के वांटेड आतंकी मसूद अजहर पर प्रतिबन्ध लगाने के लिये यूएन में प्रस्ताव दिया, इसपर अमेरिका के साथ ही यूके और फ्रांस ने भारत का समर्थन किया. लेकिन चीन ने इस प्रस्ताव में अडंगा लगा दिया.

चीन ने यह काम अपने देश पाकिस्तान की मदद के लिये किया, इससे पहले भी जब भारत ने यूएन में मसूद अजहर पर बैन लगाने का मुद्दा उठाया था तब भी पाकिस्तान ने विरोध किया था. और भारत की कोशिशों को नाकाम कर दिया था.

मसूद अजहर मोस्ट वांटेड आतंकियों :

मसूद अजहर भारत के मोस्ट वांटेड आतंकियों में शामिल है. 1999 में हुये प्लेन हाईजैक में मसूद को भारत को छोड़ना पड़ा था. गौरतलब है कि मसूद को छुड़ाने के लिये ही आतंकियों ने इंडियन एयरलाइन्स का प्लेन हाईजैक किया था. उस प्लेन को अफगानिस्तान के कंधार में ले जाकर रोका गया था, वहां प्लेन में सफ़र कर रहे यात्रियों को बचाने के लिये भारत को मसूद जैसे आतंकी को रिहा करना पड़ा था.

भारत में कई बड़ी घटनाओं के पीछे अजहर मसूद का हाथ था उनमें से एक प्रमुख हमला, पंजाब के पठानकोट में भारतीय वायुसेना के एयरबेस पर आतंकी हमला है. 2,3 जनवरी 2016 की रात पाकिस्तान से आए आतंकियों ने पंजाब में एयरफोर्स के बेस पर हमला किया था, इस हमले में  भारत के 7 जवान शहीद हो गये थे.

भारत के पास पठानकोट हमले के पीछे मसूद अजहर का हाथ होने के पुख्ता सबूत हैं और भारत ये सबूत पाकिस्तान को सौंप भी चुका है, लेकिन पाकिस्तान हीलाहवाली कर रहा है और सबूतों को मानने को तैयार नहीं है.

ऐसे में भारत ये मुद्दा यूनाइटेड नेशन में ये मुद्दा कई बार उठा चुका है और भारत ने मसूद अजहर को प्रतिबंधित किये जाने की मांग की है, लेकिन हर बार चीन ने भारत के रस्ते में अड़ंगे लगाये हैं, इसबार जब अमेरिका ने यह प्रस्ताव लाया तो फिर चीन अपनी हरकतों से बाज नहीं आया और उसने फिर से दगाबाजी की.

Back to top button