राजनीति

व्हील चेयर पर बैठ दिल्ली संसद में शिरकत करती नज़र आई साध्वी प्रज्ञा ठाकुर, देखे तस्वीरें

23 मई को लोकतंत्र का महापर्व संपन्न हुआ. इस दौरान भारत में एक बार फिर नरेंद्र मोदी के नेतृत्व वाली बीजेपी की सरकार आई हैं. देशभर में 542 सीटों पर चुनाव लड़ें गए थे जिसमे बीजेपी ने अकेले ही 303 सीटें हासिल की. वहीं एनडीए को भी इसमें शामिल किया जाए तो इन्होने 353 सीटें अपने कब्जे में की. इस चुनाव में कांग्रेस और उसके महागठबंधन को करारी हार का सामना करना पड़ा. इस चुनाव में मोदीजी के अलावा और भी कई नेता थे जो चर्चा का विषय बने रहे. इनमे भोपाल से खड़ी हुई साध्वी प्रज्ञा ठाकुर सबसे अधिक सुर्ख़ियों में रही. बता दे कि साध्वी कांग्रेस के पूर्व मुख्यमंत्री दिग्विजय सिंह के खिलाफ चुनाव लड़ रही थी. इस दौरान साध्वी को भोपाल वासियों ने भारी मतों के साथ विजय बनाया. आपको जान हैरानी होगी कि साध्वी ने दिग्विजय सिंह को पुरे 3 लाख 64 हजार 822 वोटों से हराया हैं.

जीत के बाद सांसद बने लोग देश के अलग अलग हिस्सों से बीते शनिवार दिल्ली पहुंचे. ऐसे में साध्वी प्रज्ञा सिंह ठाकुर भी यहाँ आई हुई थी. जब साध्वी ने यहाँ एंट्री ली तो सबका ध्यान उनकी और गया. दरअसल वे व्हील चेयर पर बैठ संसद में पधारी थी. ऐसे में वो वहां कुछ देर के लिए लोगो के आकर्षण का केंद्र बन गई. साथ ही मीडिया ने भी उनकी बहुत सी तस्वीरें ली.

बता दे कि साध्वी प्रज्ञा पर मालेगांव बम धमाके का आरोप लगा हुआ हैं. इस वजह से विपक्ष ने चुनाव के पहले उनका नाम उछालने की बहुत कोशिश की थी. इसके बाद साध्वी ने गांधी के हत्यारे नाथूराम गोडसे को देशभक्त कह दिया था. इस वजह से वे विवादों का हिस्सा बन गई थी. आलम ये था कि बीजेपी को बीच में आना पड़ा और उन्होंने कहा कि ये उनकी व्यक्तिगत राय हैं और हमारी पार्टी का इससे कोई लेना देना नहीं हैं. वहीं पीएम मोदी की बात करे तो उन्होंने कहा था कि वे साध्वी प्रज्ञा को इस बयान के लिए दिल से कभी माफ़ नहीं कर पाएंगे.

अब हाल ही में दिखे एक नज़ारे में ये बात साफ़ भी हो गई. दरअसल इसी संसदीय मीटिंग के दौरान पीएम मोदी भी आए हुए थे. ऐसे में बीजेपी के सभी सांसद एक एक कर लाइन में खड़े होकर हाथ जोड़ मोदी जी का अभिवादन करने लगे. मोदी जी भी हाथ जोड़ उनका धन्यवाद कर रहे थे. लेकिन जब साध्वी प्रज्ञा की बारी आई और उन्होंने मोदी जी के हाथ जोड़े तो पीएम इधर उधर देखने लगे और उन्होंने साध्वी को नज़रअंदाज़ कर दिया. इसके यही मायने निकाले जा रहे हैं कि मोदी जी ने प्रज्ञा सिंह ठाकुर को अभी भी माफ़ नहीं किया हैं.

अब देखने वाली बात ये होगी कि आने वाले समय में साध्वी प्रज्ञा भोपाल शहर के लिए क्या क्या काम करती हैं. भोपाल वालो ने उन्हें बहुत सारे वोट देकर जीत का सहरा पहनाया हैं. ऐसे में अब उनकी भी जिम्मेदारी बढ़ जाती हैं. वहीं विपक्ष की बात करे तो वो अपनी हार से काफी निराश दिखाई दे रहा हैं. खासकर कांग्रेस के लोग इस बात से भी हैरान हैं कि दिग्विजय सिंह जैसे बड़े नेता साध्वी प्रज्ञा के सामने की हार गए.

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