हरिद्वार के दर्शनीय स्थल हैं काबिल-ए-तारीफ़, एक सप्ताह में घूम सकते हैं फेमस पर्यटन स्थल
हरिद्वार के दर्शनीय स्थल: यदि आप अपने परिवार के साथ छुट्टियाँ बिताने का प्लान बना रहे हैं तो हरिद्वार के दर्शनीय स्थल आपके लुए सबसे उत्तम विकल्प साबित हो सकते हैं. माँ गंगा की गोद में बसा हरिद्वार अप मशहूर पर्यटक स्थल है जहाँ हर साल लाखों लोग दर्शन करने पहुँचते हैं. हिंदू धर्म में हरिद्वार को तीर्थ स्थल कहा गया है. यहाँ शाम में गंगा के किनारे होने वाली आरती विशेष महत्व रखती है. मान्यता है कि हरिद्वार के दर्शनीय स्थल में यदि कोई भक्त गंगा माँ की आरती में शामिल होता है तो उसके जीवन के तमाम पाप मिट जाते हैं. उत्तरांचल में मौजूद हरिद्वार एक ऐसा तीर्थ स्थल है, जिसे आप अपने परिवार के साथ पूरा एक हफ़्ता घूम सकते हैं. हरिद्वार के दर्शनीय स्थल ख्यास कर यहाँ के खूबसूरत पहाड़ और नदियाँ आपका मन मोह लेंगी.
हरिद्वार के दर्शनीय स्थल
यहाँ घूमने के लिए मई का महीना विशेष माना गया है. हर साल मई के पहले या अंतिम सप्ताह यहाँ श्रद्धालुओं का तांता लगता है. हरिद्वार के दर्शनीय स्थल के लिए यहाँ पंचांग के हिसाब से मंदिर के पट अर्थात द्वार खोलने की घोषणा की जाती है. हरिद्वार के दर्शनीय स्थल को भगवान बदरीनाथ का द्वार माना गया है. पुराणों में इस स्थल को मायापुरी क्षेत्र कहा गया है. वहीँ ऋषिकेश भी यहाँ से महज़ 25 किलोमीटर की दूरी पर स्तिथ है जिसे आप एक दिन में आसानी से घूम सकते हैं. इस लेख में हम आपको हरिद्वार के दर्शनीय स्थल के बारे में बताने जा रहे हैं, जहाँ आप अपनी छुटियाँ बिता सकते हैं.
हरिद्वार के दर्शनीय स्थल- हर की पौड़ी
हरिद्वार के दर्शनीय स्थल में हर की पौड़ी का विशेष महत्व है. इसे पुराणों में ब्रह्मकुंड कहा गया है. मान्यता है कि आज भी भगवान विष्णु यहाँ आते हैं और उनके पद चिन्ह प्राप्त किए जाते हैं. हर की पौड़ी में गंगा माँ का बड़ा घात है. यहाँ का कुंभ मेला देखने लायक होता है. हर साल कुंभ मेला देखने के लिए यहाँ करोड़ों श्रद्धालु पहुँचते हैं. यहाँ मुंडन करने के कार्य को विशेष माना गया है. लोग अपनी इच्छाएं पूरी करने के लिए यहाँ मुंडन करवाते हैं
हरिद्वार के दर्शनीय स्थल- चंडी देवी मंदिर
चंडी देवी का मंदिर हरिद्वार के दर्शनीय स्थल में से सबसे उत्तम मंदिर है. यह दुर्गा माँ के नौं अवतारों में से चंडी रूप को दर्शाता है. नवरात्रि और कुंभ के मेले के दौरान यहाँ भक्तों का सैलाब उमड़ता है. भारत में इस मंदिर को माता सती के 52 शक्तिपीठों में से माना गया है. मंदिर की मूर्ति का निर्माण आदि शंकराचार्य ने करवाया था. यहाँ आप गाड़ी, टैक्सी या रोपवे के द्वारा पहुँच सकते हैं.
हरिद्वार के दर्शनीय स्थल- मनसा देवी मंदिर
हरिद्वार के दर्शनीय स्थल को महाभारत में ‘गंगाद्वार’ के नाम से संबोधित किया गया है. शहर में मौजूद मनसा देवी का मंदिर बेहद प्रचलित है. यह मंदिर हरिद्वार से लगभग 4.5 किलोमीटर की दूरी पर स्तिथ है. मंदिर मुख्य रूप से बिलवा पर्वत पर स्तिथ है जहाँ पहुँचने के लिए उड़न-खटोलों का इस्तेमाल किया जाता है. शक्तिपीठ के रूप में प्रसिद्ध मनसा देवी मंदिर में जो भी भक्त जाता है, मनसा माँ स्वयं उसके सभी दुखों को हर लेती है.
हरिद्वार के दर्शनीय स्थल- भारत माता मंदिर
हरिद्वार के दर्शनीय स्थल में भारत माता का मंदिर अपने बहु-मंजिला निर्माण के कारण काफी प्रसिद्ध है. इस मंदिर का निर्माण स्वामी सत्यमित्रानंद गिरी ने किया था. लेकिन कुछ सालों पहले ही इस मंदिर का लोकार्पण श्रीमती इंदिरा गांधी के द्वारा दीप प्रज्ज्वलित कर हुआ था. मान्यता है कि जो भी इस मंदिर के दर्शन करता है, उसकी सभी इच्छाएं पूरी हो जाती है और माँ उसके दुखों का अंत कर देती है. इन सब के इलावा हरिद्वार के दर्शनीय स्थलों में कुंजापुरी का मंदिर , होटल आनंदा, पुराना बाज़ार और अन्य मंदिर मौजूद हैं जहाँ आप अपना पूरा सप्ताह घूम के बिता सकते हैं.
कैसे पंहुचा जाएं हरिद्वार
आप हरिद्वार जाने के लिए किसी भी मार्ग द्वारा पहुंच सकते है. आप हरिद्वार चाहे वायु मार्ग, बस, टैक्सी, और ट्रैन किसी भी माध्यम से जा सकते है. अलग अलग जगहों से समय समय पर बस, ट्रैन और वायु मार्ग वाली सुविधाए दी गई है. आप अपनी सुविधा के अनुसार किसी भी मार्ग द्वारा हरिद्वार पहुंच सकते है.
कहाँ रुके
हरिद्वार में रुकने के लिए बहुत से स्थान है. वहां पर बहुत सी सराहे, धर्मशालाएं और बहुत से होटल्स बने हुए है. आप अपनी सुविधा के अनुसार कही भी रुक सकते है. वहां रहने, खाने और रुकने से सम्बंधित किसी प्रकार की कोई समस्या नहीं है.