अध्यात्म

ये है भारत का एकमात्र ऐसा मंदिर, जहां होती है गणेश जी के इंसान स्वरूप की पूजा

गणेश उत्सव का पर्व शुरू हो गया है और इस पर्व को धूमधाम से मनाया जाता है। इस पर्व के दौरान गणेश जी की मूर्ति को घर में स्थापित किया जाता है और 10 दिनों तक गणेश जी की विशेष पूजा की जाती है। गणेश जी के भारत में कई प्रसिद्ध मंदिर स्थित हैं और इन्हीं मंदिरों में से गणेश जी का एक ऐसा अनोखा मंदिर है, जहां पर गणेश जी की नरमुखी प्रतिमा रखी गई है। इस मंदिर से कई तरह की मान्यताएं जुड़ी हुई है और मान्यताओं के अनुसार यहां पर आकर मांगी गई हर कामना को गणेश जी पूर्ण कर देते हैं। इस मंदिर को आदि विनायक मंदिर के नाम से जाना जाता है।

आदि विनायक मंदिर से जुड़ी जानकारी

गणेश जी का ये मंदिर तमिलनाडु के तिलतर्पण पुरी में स्थित है और हर वर्ष लाखों की संख्या में लोग इस मंदिर में आकर गणेश जी के दर्शन करते हैं। गणेश चतुर्थी के दौरान इस मंदिर में भव्य कार्यक्रमों का आयोजन भी किया जाता है और गणेश चतुर्थी के अवसर पर दूर-दूर से लोग इस मंदिर में आकर गणेश जी के दर्शन करते हैं। आदि विनायक मंदिर के पुजारी के अनुसार ये मंदिर एक मात्र ऐसा मंदिर है, जहां नरमुखी गणेश जी की मूर्ति स्थापित है। दरअसल भारत के अन्य मंदिरों में गणेश जी की गजमुख की मूर्ति रखी गई है लेकिन आदि विनायक मंदिर में भगवान गणेश के इंसान स्वरूप की पूजा की जाती है।

हो जाती है हर कामना पूर्ण

आदि विनायक मंदिर में आकर सच्चे मन से गणेश जी की पूजा करने से हर कामना पूर्ण हो जाता है। इतना ही नहीं अगर आपका कोई कार्य पूर्ण नहीं हो रहा है तो आप इस मंदिर में जाकर एक बार गणेश जी के दर्शन कर आएं। मात्र गणेश जी के दर्शन करने से आपका कार्य सफलता का साथ पूरा हो जाएगा।

बेहद ही खास है तिलतर्पण पुरी शहर

तिलतर्पण पुरी शहर बेहद ही खास शहर है और इस शहर के बारे में कहा जाता है कि यहां पर आकर श्राद्ध कर्म और तर्पण करना उत्तम होता है और यही वजह है कि दूर-दूर से लोग आकर इस शहर में श्राद्ध कर्म और तर्पण करते हैं। तिलतर्पण में आकर पितरों के लिए तिल तर्पण किया जाता है। इसी कारण से इस जगह का नाम तिलतर्पण पुरी रखा गया है। इस शब्द में  तिलतर्पण का अर्थ पूर्वजों को तिल चढ़ाना होता है और पुरी का अर्थ है  पूर्वजों को समर्पित शहर है।

आदि विनायक मंदिर तमिलनाडु के तिरुवरुर जिले से 25 किलोमीटर की दूरी पर स्थित है। इस जिले में पहुंचकर आपको यहां से आसानी से आदि विनायक मंदिर जाने के लिए टैक्सी और बस मिल जाएगी। वहीं आदि विनायक मंदिर के आस पास कई सारी धर्मशालाएं भी बनीं हुई है और इन धर्मशालाओं में आपको आसानी से कमरे मिल जाएगे। हालांकि गणेश चतुर्थी के दौरान इस जगह पर दूर-दूर से लोग आते हैं। इसलिए अगर आप गणेश चतुर्थी के दौरान इस मंदिर में जा रहे हैं तो पहले से ही अपने लिए धर्मशाला में कमरे बुक करवा लें।

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