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अब भारत और अमेरिका कर सकेंगें एक-दूसरे के सैन्य अड्डों का प्रयोग

अमेरिका और भारत दोनों देशों में एक दशक से चले आ रहे मसले का कल रक्षा मंत्री मनोहर पर्रिकर और अमेरिकी रक्षा मंत्री ऐश्टन कार्टर ने एक समझोते के तहत हल निकल दिया। कल दोनों देशों के मध्य ‘लॉजिस्टिक्स एक्सचेंज मेमोरेंडम ऑफ़ एग्रीमेंट’ नाम के समझोते पर मुहर लग गयी है।

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परिक्कर ने कहा, ” यह समझौता सिर्फ सैन्य अड्डों की स्थापना के लिए नहीं किया जा रहा बल्कि इसके तहत हम एक-दूसरे की हर तरह से जैसे सहयोग, आपूर्ति और सेवाओं का प्रावधान करेंगे। भारत में सैन्य अड्डों की स्थापना का कोई प्रावधान इसमें शामिल नहीं है।”

दोनों नेताओं के बीच उक्त वार्ता पेंटागन में हुई। इस समझौते के तहत दोनों देश एक दूसरे की सैन्य सेवाओं के लिए भोजन, पानी, घर, परिवहन, पेट्रोल, तेल, कपड़े, चिकित्सा सेवा और परिक्षण सेवा जैसी कई अन्य सेवाओं का आदान-प्रदान करेंगे और सञ्चालन की रूप रेखा को जल्द से जल्द उपलब्ध कराया जायेगा।

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