राजनीति

चीन ने की सारी हदें पार, ताइवान से कहा आज़ादी मांगने पर युद्ध मिलेगा, जवाब के लिए बल तैयार

भारत का पड़ोसी मुल्क चीन अपनी विस्तार वादी नीतियों के कारण दुनिया के तमाम देशों में खटक रहा है. चीन- भारत, नेपाल, ताइवान की जमीन के अलावा समुद्र में भी अपना दावां ठोक चुका है. साथ ही पाकिस्तान चीन को अपनी कई एकड़ जमीन बेच चुका है. इसके बाद भी चीन शांत नहीं बैठ रहा है और एशिया में कई देशों को डराने में लगा हुआ है.

इन दिनों अंतराष्ट्रीय स्तर पर चीन और ताइवान का मुद्दा गर्माया हुआ है. हाल ही में चीन ने ताइवान पर स्वतंत्रता की घोषणा करने की तैयारी करने का आरोप लगाते हुए युद्ध की चेतावनी दे डाली है. इस मामले में चीनी रक्षा मंत्रालय के प्रवक्ता वू कियान ने कहा कि ताइवान अगर स्वतंत्रता चाहता है तो युद्ध के लिए तैयार रहे.

इतना ही नहीं चीनी मंत्रालय ने यह भी कहा कि उनके सशस्त्र बल उकसावे और विदेशी ताकतों को हर तरह से जवाब देने के लिए तैयार है. गौरतलब है कि कुछ दिनों पहले से ही चीन के लड़ाकू विमानों ने ताइवान की वायुसीमा में घुसपैठ को काफी बड़ा दिया है. आए दिन ताइवान की वायुसीमा में चीन के लाड़कू विमान देखें जा रहे है. जिसके बाद से दोनों देशों चीन और ताइवान के बीच तनाव युद्ध स्तर पर आ चुका है.

चीन ने ताइवान को लेकर किया बड़ा दावा
चीन ने इस मामले का भी खुलासा किया है कि ताइवान में लोकतांत्रिक रूप से बनी हुई सरकार औपचारिक स्वतंत्रता का ऐलान करते हुए आज़ादी की घोषणा कर सकती है. गौरतलब है कि इस मसले में ताइवान राष्ट्रपति त्साई इंग-वेन पहले से ही कहती आ रही हैं कि ताइवान पहले से ही एक स्वतंत्र राष्ट्र हैं वह किसी के अधीन नहीं हैं, जिसे चीन गणराज्य (Republic of China) के नाम से जाना जाता है. इसके अलावा चीनी रक्षा मंत्रालय ने बार-बार दोहराया कि ताइवान चीन का एक अभिन्न हिस्सा है.

ताइवान को स्वतंत्रता मांगने पर युद्ध मिलेगा
इस मामले में चीनी रक्षा मंत्रालय के प्रवक्ता ने कहा कि ताइवान के कुछ मुट्ठी भर लोग स्वतंत्रता चाहते है. हम उन स्वतंत्रता चाहने वालों को चेतावनी देकर बताना चाहते है कि जो लोग आग से खेलते हैं वे अपने आप को पूरी तरह से जला बैठेंगे, साथ ही कहा ताइवान की स्वतंत्रता का मतलब युद्ध है.

ताइवान में युद्धक विमानों के दिखने पर यह बोला चीन
ताइवान के आसमान में चीनी वायुसेना के युद्द विमानों के देखें जाने पर यू कियान ने जवाब दिया कि ताइवान की खाड़ी में सुरक्षा स्थिति जा जायज़ा लेने और राष्ट्रीय संप्रभुता और सुरक्षा की रक्षा के लिए चीनी पीपुल्स लिबरेशन आर्मी की सैन्य गतिविधियां जरुरी कार्रवाई का एकमात्र प्रयास ही है. साथ ही उन्होंने विदेशी ताकतों का हवाला देते हुए कहा कि चीनी सेना की गतिविधिया ताइवान की स्वतंत्रता में विदेशी हस्तक्षेप का जवाब हैं.

चीन के भड़कने का यह है बड़ा कारण
आपको बता दें कि चीन ने शनिवार को अपने 8 एच-6 के परमाणु बॉम्बर्स को भी ताइवान के वायुक्षेत्र में उड़ाया था. ताइवान की सीमा में चीन ने चार की संख्या में जे-16 लड़ाकू विमानों का दस्ता भी भेजा था. इसके बाद जब ताइवान ने जवाबी कार्यवाही की तो चीन के विमान दोबारा अपनी सीमा में लौट गए. इन सब के पीछे जानकारी सामने आ रहे है कि अमेरिकी राजनयिक की ताइवान यात्रा से चीन आग बबूला हुआ है. इस कारण दोनों देशों के बीच दोबारा से तनाव की स्तिथि बनी हुई है.

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