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देखें वीडियोः पब्लिक को भड़काने की कोशिश करने पहुँचे केजरीवाल, लोगों ने कैसे लगाए मोदी-मोदी के नारे!

नई दिल्ली – पीएम मोदी ने 8 नवंबर की रात को जब से ऐलान किया है कि 500 और 1000 के नोट अब लीगल टेंडर नहीं रहेंगे यानि बैन लगाने का पूरे देश में भू-चाल आ गया है। 500 और 1000 के नोट बैन होने से सभी काला धन रखने वालों कि नीदें उड़ गई हैं। मोदी के इस ऐलान से पूरी दुनिया हिल गई और देश के बड़े – बड़े नेता चाहकर भी इसका खुलकर विरोध नहीं कर पा रहे हैं। Kejriwal tried to influence public.

इन सबके बीच एक नेता ऐसा है जिसे उसकी पार्टी या काम कि वजह से कम मोदी के विरोधी के रुप में ज्यादा जाना जाता है। जी हाँ आपने सही समझा वो कोई और नहीं बल्कि दिल्ली के सिंहासन पर बैठ काम करने के बजाय लोगों को  भड़काने और केन्द्र सरकार कि बुराईयाँ करने वाले अरविन्द केजरीवाल ही हैं।

नोटबंदी पर केजरीवाल की गंदी राजनीती जारी –

8 मार्च नवंबर 2016 को 500 औऱ 1000 के नोटों पर प्रतिबंध के बाद दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल एक बार फिर ‘विरोध मोदी’ के लिए मैदान में उतर चुके हैं। देश के पीएम मोदी द्वारा यह निर्णय देश से काले धन का उन्मूलन करने के लिए लिया गया है, जो हमेशा से ही देश के विकास में सबसे बड़ी बाधा रहा है।

लेकिन, केजरीवाल ने इस विचार की निंदा की है, बहरहाल यह कोई नई बात नहीं है। गौरतलब हो कि यह वही केजरीवाल हैं जिन्होंने कुछ हफ़्ते पहले परोक्ष रूप से सर्जिकल स्ट्राइक के सबूत कि मांग की थी और उसी परंपरा को जारी रखते हुए केजरीवाल ने फिर से आज पीएम मोदी द्वारा उठाए गए इस एतिहासिक और साहसिक कदम के विरोध में लोगों को भड़काने की कोशिश कर रहे हैं।

भड़काने की कोशिश करने पहुँचे केजरीवाल, लोगों ने सिखाया सबक –

आज एक कार्यक्रम के दौरान हाथ में माइक पकड़ कर केजरीवाल ने जैसे ही ‘मोदी विरोधी’ का जाप करना शुरू किया, भीड़ ने उनकी आवाज को दबाते हुए ‘मोदी-मोदी’ के नारे लगाने शुरु कर दिए।

बेचारे केजरीवाल! हम समझ सकते हैं कि उन्हें यह देखकर कितना दुख हुआ होगा कि लोग उनके विरोध में है न की पीएम मोदी के।

देखें वीडियोः कैसे भड़काने की कोशिश करने पहुँचे केजरीवाल को लोगों ने सिखाया सबक –

https://youtu.be/hOF-ee7Q8n8

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